बेसिक शिक्षा विभाग समाचार ( Basic Shikha Vibhaag Samachar )

प्री-प्राइमरी स्कूल रूप में काम करेंगे आंगनबाड़ी केंद्र, पहली बार आंगनबाड़ी केंद्रों के बच्चों को किताबें मुहैया करा रही यूपी सरकार, इस रंग की मिलेगी किताबें

प्री-प्राइमरी स्कूल रूप में काम करेंगे आंगनबाड़ी केंद्र, पहली बार आंगनबाड़ी केंद्रों के बच्चों को किताबें मुहैया करा रही यूपी सरकार, इस रंग की मिलेगी किताबें

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बुनियादी शिक्षा की नींव को और मजबूत करने के लिए प्रदेश सरकार ने आंगनबाड़ी केंद्रों को अब प्री प्राइमरी स्कूल के रूप में संचालित करने का निर्णय लिया है। पहली बार शासन स्तर से आंगनबाड़ी केंद्रों के लिए किताबें भेजी गई हैं। जिले भर के हर केंद्र को कुल 21 किताबें मुहैया कराई जाएंगी।

Aaganvadi samachar

तीन से लेकर छह साल तक के बच्चों के लिए अलग-अलग लाल, नीली व पीली आंगनवाड़ी केंद्रों के बच्चों के लिए आईं किताबों को दिखाते वाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग के किताबें भेजी हैं। आंगनबाड़ी केंद्रों पर शिक्षा लेने वाले बच्चे अब सीधे निजी व सरकारी स्कूलों में कक्षा एक में दाखिला ले सकेंगे।

अब तक सरकार आंगनबाड़ी केंद्रों से नौनिहालों को पोषण देने के साथ ही शारीरिक गतिविधियों पर ध्यान देती थी। बच्चों की शिक्षा पर ज्यादा ध्यान नहीं दिया जाता था, लेकिन अब प्रदेश सरकार आंगनबाड़ी केंद्रों के माध्यम से शिक्षा पर भी ध्यान दे रही है।

अब तक जिस तरह कान्वेंट विद्यालयों में प्री-प्राइमरी के अंतर्गत प्ले ग्रुप (पीजी) व किंडर गार्डन (केजी) की कक्षाएं संचालित होतीं हैं, उसी तरह आंगनबाड़ी केंद्रों पर नन्हें-मुन्ने बच्चों को प्री-प्राइमरी के तहत शिक्षा दी जाएगी। प्रदेश सरकार ने इसके लिए सभी आंगनबाड़ी केंद्रों के लिए किताबें भेज़ रही हैं। सरकार हर केंद्र पर तीन से छह साल तक के औसतन 21 बच्चे पंजीकृत मानती है। हर केंद्र के लिए शासन स्तर से 21 किताबें ही भेजी गई हैं। तीन से छह साल तक के बच्चों के लिए अलग-अलग तीन श्रेणियों की किताबें भेजी गई हैं।

एक आयुवर्ग के लिए कुल सात किताबें हैं। जिले में कई आंगनबाड़ी केंद्र ऐसे हैं, जिन पर संचालिका की तैनाती नहीं है। ऐसे में विभागीय स्तर पर इन केंद्रों पर दूसरे केंद्र की संचालिकाओं को अतिरिक्त जिम्मेदारी दे रखी है।

बुनियादी शिक्षा की नींव और मजबूत करने के लिए प्रदेश सरकार ने बड़ा निर्णय लिया है। आंगनबाडी केंद्रों को प्री-प्राइमरी स्कूल की तर्ज पर संचालित किया जाएगा। पहली बार आंगनबाड़ी केंद्रों के लिए किताबें भेजी गई है। आंगनबाडी केंद्र के बाद सीधे बच्चे कक्षा एक में दाखिला ले सकेंगे।

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